सरस्वती शिशु सदन, तिगांव में ग्रेजुएशन डे का भव्य उत्सव – नन्हे सितारों ने बिखेरी चमक
तिगांव, सरस्वती शिशु सदन सीनियर सेकेंडरी स्कूल, तिगांव में ग्रेजुएशन डे का आयोजन बड़े हर्षोल्लास के साथ किया गया। कार्यक्रम की शुरुआत दीप प्रज्वलन और मां सरस्वती की वंदना से हुई। नन्हे-मुन्ने बच्चों ने विभिन्न सांस्कृतिक प्रस्तुतियों के माध्यम से सभी का मन मोह लिया।
छात्र-छात्राओं ने अपने नृत्य और गायन के माध्यम से पानी बचाने, मोबाइल की लत से बचने और यातायात नियमों का पालन करने जैसे सामाजिक संदेश दिए। विशेष रूप से पांचवीं कक्षा के विद्यार्थियों द्वारा प्रस्तुत देशभक्ति नृत्य और “बावन गज का दामन” हरियाणवी गीत पर हुआ नृत्य कार्यक्रम के आकर्षण का केंद्र रहे।
इस अवसर पर मुख्य अतिथि मारवाड़ी युवा मंच, फरीदाबाद के अध्यक्ष विमल खंडेलवाल, विशिष्ट अतिथि सर्वोच्च न्यायालय के वकील विकास वर्मा और जिला बाल कल्याण अधिकारी कमलेश शास्त्री उपस्थित रहे। उन्होंने कक्षा नर्सरी से पांचवीं तक के प्रथम, द्वितीय और तृतीय स्थान प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को सम्मानित किया।
विद्यालय के संस्थापक वाई. के. माहेश्वरी और संस्थापिका कमलेश माहेश्वरी, सरस्वती शिशु सदन वल्लभगढ़ की प्रधानाचार्या अरुणा शर्मा, तथा विद्यालय की प्रधानाचार्या सुषमा सैनी भी इस समारोह में उपस्थित रहीं।
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प्रधानाचार्या सुषमा सैनी ने सभी अतिथियों का आभार व्यक्त किया और विद्यार्थियों को उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएँ दीं।
विमल खंडेलवाल अध्यक्ष, मारवाड़ी युवा मंच, फरीदाबाद ने बताया कि
“बच्चों की ऊर्जा और आत्मविश्वास देखकर बहुत खुशी हुई। इस तरह के कार्यक्रमों से बच्चों का सर्वांगीण विकास होता है और उन्हें सामाजिक मूल्यों की सीख मिलती है। खासकर नन्हे बच्चों द्वारा प्रस्तुत सांस्कृतिक कार्यक्रमों को देखकर यह स्पष्ट हो गया कि विद्यालय केवल शिक्षा ही नहीं, बल्कि बच्चों में नैतिक मूल्यों और संस्कारों का भी संचार कर रहा है। मैं विद्यालय प्रबंधन और शिक्षकों को इस प्रयास के लिए बधाई देता हूँ और आशा करता हूँ कि वे भविष्य में भी इसी तरह बच्चों के सर्वांगीण विकास के लिए प्रयासरत रहेंगे।”
विकास वर्मा सर्वोच्च न्यायालय के वकील ने बताया कि
“यह मंच बच्चों को सिर्फ शिक्षा ही नहीं, बल्कि नैतिक मूल्यों और समाज सेवा की दिशा में भी प्रेरित कर रहा है। बच्चों की प्रस्तुतियों में अनुशासन, आत्मविश्वास और एक सकारात्मक सोच की झलक साफ दिखाई दी, जो भविष्य में उन्हें जिम्मेदार नागरिक बनाएगी। यातायात नियमों, जल संरक्षण और मोबाइल की लत से बचने जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर बच्चों द्वारा दिए गए संदेश अत्यंत प्रभावशाली थे। मैं विद्यालय प्रबंधन को इस शानदार आयोजन के लिए बधाई देता हूँ और विद्यार्थियों को उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएँ देता हूँ।”
कमलेश शास्त्री जिला बाल कल्याण अधिकारी ने बताया कि
“बच्चों की प्रस्तुतियों में सामाजिक संदेश देखकर बेहद प्रसन्नता हुई। इस प्रकार के आयोजन बच्चों में जागरूकता लाने के साथ-साथ उनमें नेतृत्व और अभिव्यक्ति क्षमता का भी विकास करते हैं। खासतौर पर छोटी कक्षाओं के बच्चों ने पानी बचाने और मोबाइल की लत से दूर रहने का जो संदेश दिया, वह सराहनीय है। इससे स्पष्ट है कि विद्यालय न केवल शैक्षणिक उत्कृष्टता पर ध्यान दे रहा है, बल्कि बच्चों को नैतिक और सामाजिक मूल्यों से भी जोड़ रहा है। मैं विद्यालय प्रशासन और शिक्षकों को बधाई देता हूँ और बच्चों के उज्ज्वल भविष्य की कामना करता हूँ।”
विद्यालय परिवार ने इस आयोजन को सफल बनाने में योगदान देने वाले सभी शिक्षकों, अभिभावकों और विद्यार्थियों का आभार व्यक्त किया।